शेयर बाजार में भारी उतार-चढ़ाव : बुधवार की तेजी गुरुवार को गिरावट में बदली

भारतीय शेयर बाजार में इस हफ्ते जबरदस्त उतार-चढ़ाव देखने को मिला। बुधवार को आई जबरदस्त तेजी के बाद गुरुवार को बाजार ने करवट बदली और भारी गिरावट के साथ बंद हुआ। दो दिनों के इस उतार-चढ़ाव ने निवेशकों की उम्मीदों और मुनाफे — दोनों को झटका दिया।

29 अक्टूबर : निफ्टी और सेंसेक्स में जोरदार तेजी, ऑल-टाइम हाई के करीब पहुंचा बाजार

बुधवार को शेयर बाजार में जबरदस्त तेजी रही। BSE सेंसेक्स 368.97 अंक की बढ़त के साथ 84,997.13 पर बंद हुआ। NSE निफ्टी 117.70 अंक उछलकर 26,053.90 के स्तर पर पहुंच गया। यह तेजी मुख्य रूप से वैश्विक बाजारों में सकारात्मक रुझान, अमेरिकी फेड की ब्याज दरों में कटौती की उम्मीदों, और घरेलू निवेशकों की खरीदारी से प्रेरित थी। बैंकिंग, आईटी और ऑटो सेक्टर के शेयरों में जबरदस्त तेजी देखने को मिली।

HDFC Bank, Infosys, Maruti Suzuki और TCS जैसे शेयरों ने बाजार को ऊपर खींचा। निफ्टी अपने ऑल-टाइम हाई 26,100 के स्तर को छूने के करीब पहुंच गया था।

शेयर बाजार

30 अक्टूबर : एक दिन में पलटी तस्वीर, सेंसेक्स-निफ्टी लाल निशान में

गुरुवार को बाजार ने अचानक ब्रेक लगा दिए।

सेंसेक्स 592.67 अंक (0.70%) गिरकर 84,404.46 पर बंद हुआ। निफ्टी 176.05 अंक (0.68%) की गिरावट के साथ 25,877.85 पर आ गया। इस गिरावट के चलते निवेशकों की संपत्ति में एक ही दिन में करीब ₹3.5 लाख करोड़ रुपये की कमी आई।

अमेरिकी फेडरल रिजर्व की सख्त टिप्पणी, FII द्वारा भारी बिकवाली, और वैश्विक बाजारों की कमजोरी इस गिरावट के मुख्य कारण रहे। रिलायंस, टाटा स्टील, और SBI जैसे दिग्गज शेयरों में गिरावट दर्ज की गई, जबकि मिडकैप और स्मॉलकैप शेयरों में भी मुनाफावसूली हावी रही।

निवेशकों के लिए संकेत

मार्केट विशेषज्ञों के अनुसार, यह गिरावट एक स्वाभाविक करेक्शन (natural correction) है और फिलहाल 25,800–26,000 के दायरे में सपोर्ट बनता दिख रहा है। विशेषज्ञ सलाह देते हैं कि लंबी अवधि के निवेशक घबराएं नहीं, बल्कि अच्छी कंपनियों में हर गिरावट पर धीरे-धीरे निवेश बढ़ाएं।

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